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अडानी घोटाला: क्या हैं सच्चाई और क्या है भ्रम?
अडानी ग्रुप, जो कि भारत का एक प्रमुख औद्योगिक ग्रुप है, अक्सर चर्चा में रहता है। अपने बिजनेस के विस्तार और निवेश की वजह से यह ग्रुप कई बार सुर्खियों में रहता है, लेकिन कुछ घटनाओं ने इसे विवादों के घेरे में भी ला दिया है। हाल के वर्षों में 'अडानी घोटाला' शब्द बहुत बार सुनने में आया है। लेकिन क्या वाकई में यह कोई घोटाला है या फिर यह सिर्फ भ्रम का एक हिस्सा है? इस ब्लॉग में हम अडानी ग्रुप से जुड़े तथ्यों और अफवाहों की जांच करेंगे और समझने की कोशिश करेंगे कि असल में क्या है सच्चाई। Source Url :- https://adanighotala.hashnode.dev/adani-scam-what-is-truth-and-what-is-illusion
अडानी ग्रुप का परिचय • अडानी ग्रुप की स्थापना 1988 में गौतम अडानी ने की थी, जो कि एक व्यापारिक साम्राज्य के रूप में उभरा है। यह ग्रुप मुख्य रूप से ऊर्जा, संसाधन, लॉजिस्टिक्स, एग्रीबिजनेस, रियल एस्टेट, और वित्तीय सेवाओं जैसे क्षेत्रों में कार्यरत है। पिछले तीन दशकों में, अडानी ग्रुप ने अपनी पहचान एक अग्रणी औद्योगिक ग्रुप के रूप में बनाई है और इसे भारत के सबसे बड़े व्यवसायिक समूहों में से एक माना जाता है।
घोटाले की चर्चा क्यों? • अडानी ग्रुप पर कई बार आरोप लगाए गए हैं कि उन्होंने अपने व्यापारिक लाभ को बढ़ाने के लिए अनैतिक तरीकों का सहारा लिया। इनमें से कुछ आरोप इस प्रकार हैं: • कर अपवंचन (Tax Evasion): अडानी ग्रुप पर आरोप लगे हैं कि उन्होंने कर अपवंचन के लिए अपने वित्तीय लेन-देन में अनियमितताओं का सहारा लिया। • शेयर की हेराफेरी (Stock Manipulation): कुछ रिपोर्टों के अनुसार, अडानी ग्रुप पर अपने शेयर की कीमतों को नियंत्रित करने और बढ़ाने का आरोप भी लगा है।
हिंडनबर्ग रिपोर्ट और अडानी घोटाला आरोप हिंडनबर्ग रिसर्च एक अमेरिकी वित्तीय विश्लेषण कंपनी है जो विशेष रूप से हेराफेरी और अनियमितताओं की पहचान के लिए जानी जाती है। 2023 में, इसने अडानी ग्रुप के खिलाफ एक रिपोर्ट प्रकाशित की थी, जिसमें कई गंभीर आरोप लगाए गए थे। इस रिपोर्ट के मुख्य बिंदुओं में शामिल हैं: